[PDF] जम्बूद्वीप प्रज्ञप्ति सूत्र | Jambudivp Pragypati Sutra | eBookmela

जम्बूद्वीप प्रज्ञप्ति सूत्र | Jambudivp Pragypati Sutra

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जम्बूद्वीप प्रज्ञप्ति सूत्र – एक खजाना

यह ग्रंथ, जम्बूद्वीप प्रज्ञप्ति सूत्र, अपने आप में एक अनोखा खजाना है। जैन धर्म की शिक्षाओं को बेहद सरल भाषा में समझाते हुए, यह ग्रंथ हमें जैन दर्शन के मूलभूत सिद्धांतों से परिचित कराता है। रतन चंद जी द्वारा लिखा गया यह ग्रंथ, हमें जैन धर्म के विभिन्न पहलुओं, जैसे आत्मा, कर्म, मोक्ष आदि के बारे में विस्तार से जानकारी देता है। इसकी सुंदर भाषा और आसान समझ, इस ग्रंथ को सभी के लिए एक अनोखा ज्ञान का स्रोत बनाती है।

जम्बूद्वीप प्रज्ञप्ति सूत्र: जैन धर्म का मार्गदर्शक

जम्बूद्वीप प्रज्ञप्ति सूत्र, जैन धर्म के एक महत्वपूर्ण ग्रंथ, जम्बूद्वीप के भौगोलिक विवरण और वहां रहने वाले जीवों के बारे में बताता है। यह ग्रंथ, जैन धर्म के मूलभूत सिद्धांतों, जैसे अहिंसा, अस्तेय, अपरिग्रह आदि के बारे में भी विस्तार से बताता है। यह ग्रंथ, जैन धर्म की शिक्षाओं को समझने के लिए एक अनोखा मार्गदर्शक है।

जैन धर्म के मूल सिद्धांत:

जम्बूद्वीप प्रज्ञप्ति सूत्र, जैन धर्म के मूल सिद्धांतों को निम्नलिखित रूप में प्रस्तुत करता है:

  • अहिंसा: हिंसा को त्यागना और सभी जीवों के प्रति करुणा का भाव रखना।
  • अस्तेय: चोरी न करना, दूसरों की संपत्ति का सम्मान करना।
  • अपरिग्रह: मोह, लोभ, लालच से मुक्त रहना, संपत्ति और पद के प्रति आसक्ति न रखना।
  • ब्रह्मचर्य: कामवासना से मुक्त रहना, मन, वचन और कर्म से पवित्र रहना।
  • सत्य: सदा सच बोलना, झूठ से मुक्त रहना।

जैन धर्म का दर्शन:

यह सूत्र, जैन धर्म के दर्शन को भी समझने में मदद करता है।

  • आत्मा: जैन धर्म में, आत्मा को अमर और चेतन माना जाता है। आत्मा, कर्मों के बंधन से मुक्त होकर मोक्ष प्राप्त करती है।
  • कर्म: जैन धर्म में, कर्मों को आत्मा के बंधन का कारण माना जाता है। कर्मों के प्रभाव से ही हम विभिन्न योनियों में जन्म लेते हैं।
  • मोक्ष: जैन धर्म का अंतिम लक्ष्य, कर्मों के बंधन से मुक्त होकर मोक्ष प्राप्त करना है।

जम्बूद्वीप का विवरण:

जम्बूद्वीप प्रज्ञप्ति सूत्र, जम्बूद्वीप के भौगोलिक विवरण, वहां रहने वाले जीवों, और उनके जीवन के बारे में जानकारी देता है।

  • जम्बूद्वीप: यह सूत्र, जम्बूद्वीप को पृथ्वी का केन्द्र मानता है, जो विभिन्न पर्वतों, नदियों, और वनस्पतियों से युक्त है।
  • जीव: यह सूत्र, जम्बूद्वीप में रहने वाले विभिन्न जीवों, जैसे मनुष्य, देवता, नरकवासियों, और जानवरों के बारे में बताता है।
  • जीवन: यह सूत्र, जीवों के जीवन, उनके कर्मों, और उनके पुनर्जन्म के बारे में जानकारी देता है।

जैन धर्म के व्यावहारिक पहलू:

जम्बूद्वीप प्रज्ञप्ति सूत्र, जैन धर्म के व्यावहारिक पहलुओं पर भी प्रकाश डालता है।

  • अहिंसा का पालन: जैन धर्म, अहिंसा का पालन करना सिखाता है। यह सूत्र, अहिंसा को प्राणियों के प्रति करुणा और उनके सम्मान का भाव मानता है।
  • कर्मों का प्रभाव: जैन धर्म में, कर्मों का प्रभाव महत्वपूर्ण माना जाता है। यह सूत्र, अच्छे कर्मों द्वारा मोक्ष और बुरे कर्मों द्वारा दुख और पुनर्जन्म के बारे में बताता है।
  • आत्म-ज्ञान: जैन धर्म, आत्म-ज्ञान को प्राप्त करने पर जोर देता है। यह सूत्र, आत्मा की वास्तविक प्रकृति और उसके मोक्ष तक पहुँचने के मार्ग के बारे में बताता है।

संदर्भ:

निष्कर्ष:

जम्बूद्वीप प्रज्ञप्ति सूत्र, जैन धर्म के मूलभूत सिद्धांतों, दर्शन, और व्यावहारिक पहलुओं को समझने के लिए एक अनोखा मार्गदर्शक है। यह ग्रंथ, जैन धर्म की शिक्षाओं को सरल भाषा में प्रस्तुत करता है, जो सभी के लिए समझने में आसान है। इस ग्रंथ को पढ़ने से, जैन धर्म के बारे में ज्ञान प्राप्त होता है और हमारे जीवन में सकारात्मक बदलाव आते हैं।

Jambudivp Pragypati Sutra by Ratan Chand

Title: Jambudivp Pragypati Sutra
Author: Ratan Chand
Subjects: Banasthali
Language: hin
Jambudivp Pragypati Sutra
Collection: digitallibraryindia, JaiGyan
BooK PPI: 300
Added Date: 2017-01-17 04:01:55

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