[PDF] सरस्वती कण्ठाभरणम् - भाग 3 | Saraswati Kanthabharana - Part 3 | के० साम्बशिव शास्त्री - K. Sambashiv Shastri, भोजदेव - Bhojdev | eBookmela

सरस्वती कण्ठाभरणम् – भाग 3 | Saraswati Kanthabharana – Part 3 | के० साम्बशिव शास्त्री – K. Sambashiv Shastri, भोजदेव – Bhojdev

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“सरस्वती कण्ठाभरणम्” का तीसरा भाग, “The Sarasvatikantha Bharana Part III,” संस्कृत साहित्य के अध्येताओं के लिए एक अनमोल खजाना है। यह ग्रंथ, जो १९३८ में प्रकाशित हुआ था, महान विद्वान के. साम्बशिव शास्त्री द्वारा संकलित और संपादित किया गया है। इसमें भोजदेव द्वारा रचित “सरस्वती कण्ठाभरणम्” का तीसरा भाग शामिल है, जिसमें संस्कृत व्याकरण और शब्द-शास्त्र पर मूल्यवान जानकारी दी गई है। शास्त्री जी ने ग्रंथ को यथासंभव सटीकता से प्रस्तुत किया है, जिससे इसका मूल भाव स्पष्ट हो जाता है। यह ग्रंथ संस्कृत साहित्य के इतिहास और विकास को समझने के लिए एक महत्वपूर्ण स्रोत है।

The Sarasvatikantha Bharana Part Iii 1938 by Manorama

Title: The Sarasvatikantha Bharana Part Iii 1938
Author: Manorama
Subjects: IIIT
Language: san
सरस्वती कण्ठाभरणम् - भाग 3 | Saraswati Kanthabharana - Part 3 
 |  के० साम्बशिव शास्त्री - K. Sambashiv Shastri, भोजदेव - Bhojdev
Collection: digitallibraryindia, JaiGyan
BooK PPI: 600
Added Date: 2017-01-25 09:14:41

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